मंगलवार, 26 अप्रैल 2022

बहुत बहुरंगी जमाना है।

 बहुरंगी जमाना है
इस जमाने से 
अपने को बचाना है
कौन बच पाएगा
इस वक्त से
इसका हिसाब लगाना है
बहुरंगी जमाना है
किसी की कीमत मत लगाना
कीमत से बचाना है
बहुत बहुरंगी जमाना है।
जमाने से बचाना है।

-डॉ लाल रत्नाकर


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