बुधवार, 21 जुलाई 2021

देखिए इस युग की चालबाजियां



देखिए इस युग की चालबाजियां
जो दूसरे युगों से अलग कैसे हैं।
तुम्हारे बिरादरों को मंत्री बना दिया है।
तुम्हें डॉक्टर बनने की
जरूरत क्या है?
अफसर बनने की
जरूरत क्या है?
स्कूल कॉलेज विश्वविद्यालय
जाने की जरूरत क्या है?
वकील और जज बनने की
जरूरत क्या है?
तुम्हारे मंत्रियों को
हमने कोई अधिकार
थोड़े दिया है।
वह तो हमारी बारात के
खूबसूरत बैंड वालों की
तरह हैं जो सज धज कर
अपने काम से काम तक
उन लालबत्तियों के साथ
मशगूल हो गए हैं।
तुम्हें शूल चुभ रहा है ?
तो किसी भी मंदिर में
चले जाओ
या कांवर उठाओ
और गंगा जल भर भर
के ले आओ।
उसे किसी ऐसे मंदिर पर
चढाओ जो बढ़ता जाए
और तुम घटते जाओ।
रास्ते में तुम्हारे
खाने-पीने का
इंतजाम हमारे छुट भैया
सेठों ने कर रखा है।
दारू गांजा भांग
यह सब शिव का प्रसाद है ।
इसका सेवन करो
और अपनी पीढ़ियों के
बर्बादी के सपने देखो।
धर्मांध बनो और
सदियों सदियों पशुवत
जीवन जियो।
यही तो हमने मनुस्मृति में
भी लिखा है।
और तुमने पढ़ा थोड़े है
संविधान में क्या लिखा है।
हम तुम्हें आगे भी
पढ़ने नहीं देंगे।
तुम्हारे पूर्वजों ने
जो समझ पैदा की थी
हम उस समझ को
तुम्हारे मंत्रियों से ही
बर्बाद करा कर रख देंगे।
उन्हें मंत्री बनाएंगे
और उन्हीं से तुम्हें
गुलाम बनाने की
योजना पर काम कराऐंगे।
जिससे तुम गुलामी का
आनंद ले सको धर्मांध बनकर।
जिसका तुम्हें पता भी ना चले।
- डॉ लाल रत्नाकर
Ashok Yadav

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