सुकोमल रचनाओं में इस्तेमाल होता है।
लेकिन उनको पत्थर दिल कहा जाता है।
जो सरल होने का नाटक करते हैं,
पर वह इतने कठोर होते हैं
लेकिन उनको पत्थर दिल कहा जाता है।
जो सरल होने का नाटक करते हैं,
पर वह इतने कठोर होते हैं
जहां पत्थर भी टूट जाए।
अगर उनसे टकरा जाए।
आइए हम ऐसे कुछ लोगों पर
नजर डालते हैं।
जिनकी वजह से
अगर उनसे टकरा जाए।
आइए हम ऐसे कुछ लोगों पर
नजर डालते हैं।
जिनकी वजह से
देश की मर्यादा तार-तार होती है।
उनका कुछ नहीं होता !
उनका कुछ नहीं होता !
बेटियां बचाने उनका नारा है,
जो बेटियो के लिए अभिशाप होते हैं।
और वही सत्ता मौन होती है।
जो बेटियो के लिए अभिशाप होते हैं।
और वही सत्ता मौन होती है।
सत्ता में शामिल लोग कौन होते हैं!
किसको नहीं पता है?
फिर भी लोग पत्थरों की तरह चुप है।
किसको नहीं पता है?
फिर भी लोग पत्थरों की तरह चुप है।
-डॉ लाल रत्नाकर
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